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Friday, May 05, 2017

विश्वप्रसिद्ध रूसी नाटक "इंस्पेक्टर" ; अंक-2 ; दृश्य-9

दृश्य-9
(ओहे सब । ओसिप के साथ सराय के नौकर अर्थात् बैरा के प्रवेश । बोचिन्स्की दरवाजा से अंदर हुलकऽ हइ ।)
बैरा - जी हमरा बोलावल गेले हल ?
ख़्लिस्ताकोव - हाँ; बिल दे दे ।
बैरा - हम तो पहिलहीं अपने के बिल दे चुकलिए ह ।
ख़्लिस्ताकोव - हमरा तोर बेवकूफी भरल बिल आद नयँ । बताव, केतना हइ ?
बैरा - अपने पहिला दिन दुपहर के भोजन, आउ दोसरा दिन जरी सुन सालमन लेलथिन हल आउ बाद में सब कुछ उधार पर औडर देलथिन हल ।
ख़्लिस्ताकोव - बेवकूफ ! एक-एक आइटम के गिनती चालू कर देलँऽ । कुल बिल केतना हइ ?
मेयर - एकर अपने फिकिर नयँ करथिन, ऊ इंतजार करतइ । (बैरा से) जो, तोरा बोलावल जइतउ ।
ख़्लिस्ताकोव - वास्तव में ई सही हइ । (पैसा पाकिट में रख ले हइ ।)
(बैरा चल जा हइ । दरवाजा से बोबचिन्स्की अंदर हुलकऽ हइ । )


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